चारधाम यात्रा पर सुप्रीम कोर्ट में सरकार से पहले दाखिल हुई केविएट
देहरादून- चारधाम यात्रा पर रोक लगने के बाद उत्तराखण्ड सरकार सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर करने जा रही है। सरकार के प्रवक्ता और कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट में सरकार के अधिवक्ता को एसएलपी दायर करने को कह दिया गया है जल्द ही इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी। इस मामले में सरकार से तेज याचिकाकर्ता निकले, जिन्होंने सरकार से पहले ही सुप्रीम कोर्ट में केविएट दाखिल कर दी है। जिसमें कहा गया है कि कोई भी फैसला देने से पहले सुप्रीम कोर्ट उन्हें भी सुन ले।
1 जुलाई से शुरू होने जा रही चारधाम यात्रा पर नैनीताल हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है। कोर्ट के इस फैसले के खिलाफ राज्य सरकार अब सुप्रीम कोर्ट जा रही है। सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में अपने अधिवक्ता को जल्द से जल्द एसएलपी दायर करने के आदेश दे दिये हैं। आपको बता दें कि नैनीताल हाईकोर्ट ने एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुये बीते दिनों सरकार के उस फैसले पर रोक लगा दी थी जिसके तहत सरकार ने 1 जुलाई से चारधाम यात्रा शुरू करने जा रही थी। यात्रा का यह आदेश बकायदा राज्य कैबिनेट से पारित हुआ था। यमुनोत्री, गंगोत्री, केदारनाथ और बदरीनाथ धाम के दर्शन केवल संबंधित तीन जिलों के लिये खोले गये थे। जिसमें उत्तरकाशी, चमोली और रूद्रप्रयाग जिले के स्थानीय लोगों के लिये ही सीमित संख्या में यात्रा खोली गई थी। लेकिन कोरोना संक्रमण को देखते हुये नैनीताल हाईकोर्ट ने चारधाम यात्रा पर रोक लगा दी। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिये सरकार का होमवर्क पूरा नहीं है लिहाजा ऐसे हालात में चारधाम यात्रा को मंजूरी नहीं दी जा सकती। हाईकोर्ट के इस आदेश से राज्य सरकार को बड़ा झटका लगा है।
फैसला आते ही सरकार के प्रवक्ता सुबोध उनियाल ने कह दिया था कि सरकार इस फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएगी। जिसके बाद आदेश आने के दिन ही सरकार ने रात 10 बजे एसओपी जारी कर 1 जुलाई से यात्रा आरम्भ करने की बात कही। हालाकि सुबह होते ही सरकार ने संसोधित एसओपी जारी कर कोर्ट का हवाला देते हुये यात्रा स्थागित करने की बात कही। अब कैबिनेट मंत्री और सरकार के प्रवक्ता सुबोध उनियाल ने साफ कर दिया है कि सरकार नैनीताल हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने जा रही है। सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दायर करने की तैयारी चल रही है। सुप्रीम कोर्ट में जल्द ही सरकार की एसएलपी पर सुनवाई होगी। लेकिन इस पूरे मामले में दिलचस्प यह रहा है कि सरकार से तेज याचिकाकर्ता निकले। नैनीताल हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करने वाले याचिकाकर्ताओं में से दो याचिकाकर्ता सुप्रीम कोर्ट में केविएट दाखिल कर चुके हैं। याचिकाकर्ताओं को पहले से इस बात का अंदेशा था हाईकोर्ट से झटका लगने के बाद सरकार सुप्रीम कोर्ट में जरूर एसएलपी दायर करेगी। याचिकाकार्ताओं ने केविएट में कहा है कि इस मामले में कोई भी फैसला देने से पहले सुप्रीम कोर्ट उन्हें भी सुन ले। इनके द्वारा 29 जून को ही सुप्रीम कोर्ट में केविएट दायर की जा चुकी है।