लखीमपुर खीरी कांड : गुस्सैल किसान नहीं होने देंगे काशीपुर में रैली, कांग्रेस किसानों के समर्थन में
लखीमपुर खीरी कांड में किसानों की मौत के बाद सभी किसान समूह गुस्से में है। वहीं ऊधमसिंहनगर जिले के काशीपुर में बौखलाए हुए किसानों ने चेतावनी दी है कि वह काशीपुर में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की आगामी रैली नहीं होने देंगे। किसानों की चेतावनी के मुताबिक अगर मुख्यमंत्री काशीपुर आते हैं तो उनको किसी भी हालत में रैली करने नहीं दी जाएगी … और अगर ऐसा होता है तो किसान ट्रैक्टर-ट्राली लेकर हेलीपैड में घुस कर और टेंट उखाड़ कर फेंक देंगे। किसानों का सब्र का बाँध अब टूट चुका है और अब उनसे शांति की उम्मीद सरकार न रखे।
संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर सोमवार सुबह भारी संख्या में किसान काशीपुर नवीन मंडी में एकत्र हुए। इस दौरान भारतीय किसान यूनियन युवा विंग के प्रदेश अध्यक्ष जितेंद्र सिंह जीतू ने पत्रकारों से कहा कि मुख्यमंत्री का काशीपुर आने पर कड़ा विरोध होगा। जितेंद्र सिंह जीतू ने कहा कि कितने किसान शहीद हो गए और कितने तो घायल हैं। ऐसे में सरकार रैली करना चाहती है ? इनको बिल्कुल रैली नहीं करने दी जाएगी। टेंट उखाड़ कर फेंक दिया जाएगा साथ ही ट्रैक्टर ट्राली लेकर आएगे और हैलीपैड में घुसा देंगे। अभी से मुख्यमंत्री की रैली को कैंसिल करवा लिया जाए, वरना किसानों से बुरा कोई नहीं होगा। सरकार इसको आखरी चेतावनी समझे और अपनी रैलियों का कार्यक्रम रोक दे।
वहीँ कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत ने भाजपा सरकार को जिम्मेदार ठहराया है और लखीमपुर खीरी में किसानों पर किये गए अन्याय के विरोध में नौ बजे से 10 बजे तक मौन उपवास रखा था। रावत ने कहा कि लखीमपुर खीरी में किसानो के ऊपर गाडी चढ़ाकर कुचलना और उन पर गोलियां चलना बहुत ही शर्मनाक और चिंताजनक घटना है। उन्होंने यह भी आरोप लगाया है कि किसानों को कुचलने वाला और कोई नहीं बल्कि भारत सरकार के मंत्री का बेटा है। किसान कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। अब किसान आवाज उठा रहे हैं तो उनके ऊपर सत्ता अपनी गाड़ियां चढ़ाकर उनको कुचल रही है। रावत ने केंद्र और यूपी सरकार को सचेत करते हुए कहा कि वो एक बात हमेशा याद रखें कि भारत का किसान बहुत ही साहसी है और वो प्राण देगा मगर झुकेगा नहीं। कांग्रेस पूरी तरह से किसानों के संघर्ष के साथ खड़ी है।