Friday, April 26, 2024
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विश्व हिंदी दिवस 2022 : जानिए क्यों अहम है आज का दिन

हर साल 10 जनवरी को विश्व हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है। इसकी शुरुआत साल 2006 में हुई। हिंदी भाषा को वैश्विक स्तर पर बढ़ावा देने के लिए भारत के तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह द्वारा वर्ष 2006 में 10 जनवरी को विश्व हिंदी दिवस के तौर पर मनाए जाने की घोषणा की थी। इस बहाने दुनिया भर के देशो को हिंदी भाषा की ओर आकर्षित करने की कोशिश बढ़ी। हिंदी भाषा को विश्व स्तर पर मनाने का उदेश्य विश्व में हिंदी भाषा का प्रचार और प्रसार के साथ जागरुता पैदा करना और हिन्दी को अन्तराष्ट्रीय भाषा के रूप में पेश करना है। आज भी विश्व स्तर पर हिंदी भाषा को तीसरा स्थान प्राप्त है। वहीं नेपाल, बांग्लादेश, पाकिस्तान, मलेशिया, ब्रिटेन, अमेरिका जैसे देशों में हिंदी के जरिये भारतीयता का विकास हो रहा हैं। इसी तरह फिजी, मॉरीशस, गुयाना, सूरीनाम में हिंदी को अल्पसंख्यक भाषा का दर्जा हासिल हो चुका है।

आपको बता दें कि 1975 में पहले विश्व हिंदी सम्मेलन का उद्घाटन तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गाँधी ने किया था। 1975 से विभिन्न देशों जैसे संयुक्त राज्य अमेरिका, यूनाइटेड किंगडम, मॉरीशस, त्रिनिदाद और टोबैगो ने विश्व हिंदी सम्मेलन का आयोजन किया था। विश्व में आज हिंदी का इतना असर देखने को मिला रहा है कि करीब एक अरब से ज्यादा लोग न सिर्फ हिंदी बोल सकते हैं, बल्कि वे इसे लिख और समझ भी रहे हैं। भारत में ही नहीं, विश्व के कई देशों में हिंदी का अध्ययन शुरू हो चुका है। आज दुनिया भर में 150 से ज्यादा देशों के 200 विश्वविद्यालयों में हिंदी पढ़ाई जा रही है। अमेरिका के 30 से ज्यादा विश्वविद्यालयों और शैक्षिक संस्थानों में हिंदी पढ़ाई जाती है। ऐसे ही जर्मनी के 15 संस्थानों में हिंदी भाषा और साहित्य का शिक्षण होता है।

विश्व हिंदी दिवस के मौके पर भारत समेत दुनिया के तमाम देशों में विशेष कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। हालांकि, पिछले दो वर्षों करोना के महामारी की स्थिति के चलते, लोग अपनी पसंदीदा कविताओं को पढ़कर या गाने गाकर वर्चुअल मोड में विश्व हिंदी दिवस के कार्यक्रमों में हिस्सा ले रहे हैं।

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