बीते कुछ महीनों ,में जिस तरह से एक महामारी ने पूरी दुनिया को घुटनों पर ला दिया है उससे आज बचने के तरह तरह के उपाय और तरीके निकाले जा रह हैं। क्या आप यकीन करेंगे कि कोरोना से अब पेड़ पौधों को भी सुरक्षित रखने की तैयारी हो रही है।
जी हाँ बेहतरीन जलवायु और मौसम की वजह से उत्तराखंड के पहाड़ों में प्राकृतिक परिवेश ऐसा है कि न सिर्फ फसलों को फलों को लाभ होता है बल्कि हॉर्टिकल्चर विभाग को नए नए विदेशी फल फूल सब्जियों को उगाने में भी सहयोग करता है।
ऐसे माहौल में अब विदेशों से इम्पोर्ट होने वाले ख़ास किस्म के पौधों के लिए कृषि मंत्रालय उत्तराखंड में बनने वाले क्वारंटीन सेंटर की जगह खोज रहा है प्रदेश में इस सेंटर को स्थापित करने के लिए 20 एकड़ भूमि की तलाश की जा रही है।
कृषि मंत्रालय के संयुक्त सचिव अश्वनी कुमार और राजवीर सिंह उत्तराखंड आये और कृषि मंत्री सुबोध उनियाल के साथ बैठक कर क्वारेंटीन सेंटर के लिए ज़मीन पर रायशुमारी की …. कृषि मंत्री सुबोध उनियाल ने केंद्रीय प्रतिनिधि मंडल के साथ बातचीत में टिहरी, पौड़ी, हरिद्वार, देहरादून, ऊधमसिंह नगर व नैनीताल जिले में क्वारंटीन सेंटर के लिए जमीन तलाशने की बात बताई गयी है।
अब उम्मीद की जा रही है कि जैसे ही ज़मीन मिल जाएगी क्वारेंटीन सेंटर बनाने की शुरुआत की जाएगी। यहां पर विदेशों से आयातित पौधों को एक निश्चित अवधि तक रखा जाएगा। इससे पौधों में होने वाली बीमारियों की समय से पूरी जानकारी मिल सकेगी .. जिससे किसी दूसरी फसलों को होने वाले साइड इफेक्ट या संभावित नीमरियों से से बचाया जा सकेगा। यानी कोरोना के दौर में अब भारत में पौधों की नर्सरी भी कोरेन्टीन की जाएगी