Deepawali से पहले लेटर बम फोड़ने वाले Ex Minister लाखीराम joshi भाजपा से Suspend
उत्तराखंड की सियासत में लेटर बम अक्सर फूटते रहे हैं। भाजपा हो या कांग्रेस दोनों ही पार्टियों में बड़े बड़े नेताओं ने हमेशा पहाड़ से एक लेटर दिल्ली के आलाकमानों के दरबार में फोड़ते रहे हैं। इसी कड़ी में भाजपा नेता एवं पूर्व कैबिनेट मंत्री लाखीराम जोशी ने जो लेटर बम मोदी दरबार में फोड़ा था वो अब उन्हें महंगा पड़ता दिख रहा है और आज उन्हें भाजपा से निलंबित कर दिया गया है इतना ही नहीं पार्टी ने उन्हें कारण बताओ नोटिस भी थमा दिया है जिसमें उनसे सात दिन के भीतर जवाब मांगा गया है।
अब आपको ये बताने की ज़रूरत नहीं कि अचानक ये सब क्यों हुआ .. क्यूँकि बीते दो दिनों से एक चिट्ठी ने ये सारा बवाल खड़ा कर दिया है जो जुड़ी है सीधे मुख्यमंत्री से जिसमें उन्होंने प्रदेश सरकार की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए नेतृत्व परिवर्तन का प्रधानमंत्री से आग्रह किया गया है। ख़ास बात ये है कि यह पत्र जोशी ने प्रधानमंत्री को भेजा है। भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ. देवेंद्र भसीन ने बताया कि पूर्व मंत्री जोशी को सात दिन के भीतर जवाब मांगा गया है। उत्तर संतोषजनक न पाए जाने पर उन्हें पार्टी से बर्खास्त भी किया जा सकता है।
टिहरी के पूर्व विधायक लाखीराम जोशी के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लिखे पत्र ने सियासी हलचल मचा दी है। पत्र लिखने के कारण भाजपा प्रदेश संगठन ने लखीराम जोशी को निलंबित करने के मामले में पूर्व विधायक ने कहा कि इस तरह किसी का निष्कासन नहीं किया जा सकता। व्यवस्था के अनुसार पहले नोटिस देना पड़ता है। उसके बाद ही निष्कासन होता है। मैंने सत्य बात को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा था।
अब आपको ये भी बता दें कि लाखीराम जोशी कौन हैं … पुराने भाजपाई जोशी साल 1991 में टिहरी का चुनाव जीत कर विधान सभा पहुंचे थे हांलाकि 1993 में विधानसभा टिहरी का चुनाव हार गए लेकिन वापसी करते हुए फिर एक बार साल 1996 में टिहरी विधायक चुने गए इसके बाद साल 2000 में जब उत्तराखंड उत्तरप्रदेश से अलग हुआ तो 2001 की अंतरिम सरकार में मंत्री भी बने थे …. इसके बाद कई साल गुमनामी में रहने वाले पूर्व मंत्री जोशी का एक लेटर उन्हें प्रदेश में सुर्ख़ियों में ला चुका है … देखना होगा की अब अपने बागी तेवर दिखने वाले जोशी पार्टी फॉर्म पर क्या सफाई पेश करेंगे और क्या पार्टी को वो मंजूर होगा ?