CM को बदनाम करने व सरकार को अस्थिर करने का षड्यंत्र विफल, कांग्रेस चेहरा दिखाने लायक़ नहीं रही : BJP
- भाजपा ने कहा कांग्रेस मुंह दिखाने लायक नहीं बची
- जानिये आज सुप्रीम कोर्ट में क्या हुआ –
बता दें कि हाइकोर्ट ने मंगलवार को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत पर एक पत्रकार की ओर से लगाए गए कथित भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच का आदेश दिया था। पत्रकार ने आरोप लगाया है कि 2016 में जब रावत भाजपा के झारखंड प्रभारी थे, तब उन्होंने एक व्यक्ति को गोसेवा आयोग का अध्यक्ष बनाए जाने को लेकर धनराशि अपने रिश्तेदारों के खाते में ट्रांसफर कराई थी।कांग्रेस ने बुधवार को नैतिक आधार पर रावत का इस्तीफा मांगा।
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने कहा, एक ऐसा मुख्यमंत्री जो भ्रष्टाचार के खिलाफ अपनी सरकार की ‘जीरो टॉलरेंस’ की नीति का बखान करने से नहीं थकता, उसे (अदालत का) ऐसा (सीबीआई जांच का) आदेश आने के बाद अब एक मिनट भी पद पर बने रहने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। कांग्रेस पार्टी ने कहा कि पार्टी ने राज्यपाल बेबी रानी मौर्य से मिलने का समय मांगा है, जिससे वह उनके सामने इस मुददे को रख सकें और इस मामले में उनसे दखल देने का अनुरोध कर सकें। यह कोर्ट का मसला है। इस पर न्यायिक दृष्टि से ही काम किया जाएगा। जो भी चीजें होंगी वे कोर्ट के मार्फत ही स्पष्ट होंगी। सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका दायर की है। वहीँ आज कांग्रेस ने देहरादून में जबरदस्त विरोध प्रदर्शन और राजभवन घेराव कर अपनी एकजुटता का नमूना पेश किया