हरिद्वार रोड पर मणीमाई मंदिर के समीप जंगल में 15 बंदरों की संदिग्ध हालातों में मौत हो गई है। जबकि, एक बंदर सड़क किनारे तड़पता मिला। बंदरों के नाक और मुंह से खून निकल रहा था। ग्रामीणों की सूचना पर पहुंची वन विभाग की टीम ने शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवा दिए हैं और एक बंदर को नाजुक स्थिति में उपचार के लिए देहरादून चिड़ियाघर भेजा गया है। बंदरों को जहर देकर मारने की आशंका जताते हुए वन विभाग ने डोईवाला थाने में अज्ञात के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराया है।
बताया जा रहा है कि हो सकता है बंदरों को कहीं और मारकर यहां फेंका गया हो। इसकी जांच की जा रही है। वहीं मरे हुए बंदरों का पोस्टमार्टम कराया जाएगा। उसके बाद मौत किस कारण हुई इसका पता चल पाएगा।
आपको बता दें कि उत्तराखंड में ये बंदरों की सामूहिक मौत का पहला मामला नहीं है। इससे पहले बीती जून में उधमसिंह नगर के काशीपुर में भी ऐसे ही 24 से अधिक बंदरों को मौत हुई थी। जब एक आम के बाग में बंदरों को जहर देकर मारने की बात सामने आई थी।
अब देहरादून के पास लच्छीवाला में 15 बंदरों की सामुहिक मौत से वन विभाग में हड़कंप मच गया है। फिलहाल वन विभाग मृत बंदरों की पीएम रिपोर्ट का इंतजार कर रहा है साथ ही इलाके में लोगों से पूछताछ भी की जा रही है।