किसान की जमीन के नीचे मिला कच्चे तेल का अकूत भंडार, रातों रात बदल गई किस्मत
कहते हैं देने वाला जब देता है तो छप्पर फाड़कर देता है। यूपी के एक साधारण किसान के साथ कुछ ऐसा ही हुआ है। जिस जमीन में वो बमुश्किल अन्न पैदा कर अपना भरण पोषण कर रहा था उसी जमीन के नीचे कच्चे तेल का एक ऐसा अकूत भंडार मिला है, जिससे न केवल ये किसान बल्कि पूरे यूपी समेत पूरे भारत की किस्मत बदल जाएगी।
जी हां ये मामला है यूपी के बलिया जिले के सागरपाली गांव का। जहां कच्चे तेल का विशाल भंडार मिला है। जिसके बाद ओएनजीसी ने गांव के एक परिवार से 12 बीघा जमीन का अधिग्रहण कर लिया है। इतना ही नहीं ओएनजीसी ने इस जगह पर खुदाई का काम भी शुरू कर दिया है।
ये जमीन स्वतंत्रता सेनानी चित्तू पांडे के परिवार की है। ये इलाका गंगा बेसिन का है जहां कुछ साल पहले शोधकर्ताओं को कच्चे तेल का अंदाजा हुआ। इसके बाद इस पूरे इलाके का सर्वेक्षण किया गया और 3,000 मीटर की गहराई पर तेल के भंडार का पता चला।
अब ओएनजीसी ने चित्तू पांडे के परिवार से तीन साल के लिए साढ़े छह एकड़ जमीन लीज पर ली है, जिसके लिए सालाना इस किसान परिवार को 10 लाख रुपये का भुगतान किया जाएगा। इसके बाद अगर तेल निकालने का प्लांट लगता है तो परिवार को जमीन की भारी भरकम कीमत मिलनी तय है।
यहां तेल का भंडार तो है, लेकिन दिक्कत ये है कि ये बहुत गहराई में है। इसके लिए 3,001 मीटर गहरी बोरिंग कराई जा रही है। इस खुदाई के लिए रोजाना 25,000 लीटर पानी का इस्तेमाल किया जा रहा है। अधिकारियों के मुताबिक खुदाई का काम बहुत तेजी से चल रहा है। उम्मीद है कि अप्रैल महीने के आखिर तक तेल की सतह तक बोरिंग का काम पूरा हो जाएगा।
बताया जा रहा है कि यहां कच्चे तेल का इतना भंडार मौजूद है जिससे आने वाले कई दशकों तक भारत की 50 फीसदी तेल की जरूरत पूरी हो सकती है। कच्चे तेल का ये भंडार कितना बड़ा है इस बात का अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि इस भंडार के चलते कच्चे तेल के उत्पादन में भारत रूस के बराबर आ सकता है और खाड़ी देशों पर तेल की निर्भरता लगभग आधी रह सकती है।