-आकांक्षा थापा
बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता दिलीप कुमार का बुधवार सुबह निधन हो गया है। दिलीप कुमार फिल्मो का एक ऐसा चेहरा थे जिसपर हर कोई मरता था, उनकी अदाकारी के सब दीवाने थे… फिल्म इंडस्ट्री में दिलीप कुमार को ट्रेजेडी किंग के नाम से भी जाना जाता था । लेकिन आज एक्टर दिलीप कुमार का निधन ही नहीं बल्कि एक युग का अंत हुआ है। उन्हें लम्बे समय से सांस लेने में हो रही दिक्कत हो रही थी, जिस वजह से वह बार-बार अस्पताल में भर्ती हो रहे थे। स्वास्थ्य बिगड़ जाने पर दिलीप कुमार को 30 जून को हिंदुजा अस्पताल में भर्ती कराया गया था जिसके बाद आज सुबह उनके निधन की खबर आई है। दिलीप कुमार के पार्थिव शरीर को सबसे पहले उनके घर पर ले जाया जाएगा। सांताक्रुज में शाम 5 बजे उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।
98 साल के अभिनेता के निधन से पूरी फिल्म इंडस्ट्री एक शोक की लहर है और देशभर के लोग सोशल मीडिया के जरिए उन्हें श्रद्धांजलि दे रहे हैं। बॉलीवुड के सितारे ही नहीं बल्कि दिलीप कुमार के फैंस, शुभचिंतक, बड़े राजनीतिक नेता यहाँ तक की प्रधान मंत्री ने भी उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की…
पीएम मोदी ने दिग्गज अभिनेता दिलीप कुमार के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा ,“उन्हें एक सिनेमाई लीजेंड के रूप में याद किया जाएगा।” पीएम ने कहा, “उन्हें अद्वितीय प्रतिभा का आशीर्वाद प्राप्त था, जिसके कारण पीढ़ियों के दर्शक मंत्रमुग्ध हो गए थे। उनका निधन हमारी सांस्कृतिक दुनिया के लिए एक क्षति है”
Dilip Kumar Ji will be remembered as a cinematic legend. He was blessed with unparalleled brilliance, due to which audiences across generations were enthralled. His passing away is a loss to our cultural world. Condolences to his family, friends and innumerable admirers. RIP.
— Narendra Modi (@narendramodi) July 7, 2021
फिल्म इंडस्ट्री के ‘ट्रेजेडी किंग’ का सफर
दिलीप कुमार का जन्म 11 दिसंबर 1922 को पाकिस्तान में हुआ था और उनका पहला नाम ‘यूसुफ खान’ था। बाद में उन्हें पर्दे पर दिलीप कुमार के नाम से शोहरत मिली। एक्टर ने अपना नाम एक प्रोड्यूसर के कहने पर बदला था, जिसके बाद उन्हें स्क्रीन पर दिलीप कुमार के नाम से लोग जानने लगे।
दिलीप कुमार की शुरुआती पढ़ाई नासिक में हुई। बाद में उन्होंने फिल्मों में अभिनय का फैसला किया और 1944 में रिलीज हुई फिल्म ज्वार भाटा से डेब्यू किया। शुरुआती फिल्में नहीं चलने के बाद अभिनेत्री नूर जहां के साथ उनकी जोड़ी हिट हो गई। फिल्म जुगनू दिलीप कुमार की पहली हिट फिल्म बनी। दिलीप साहब ने लगातार कई फिल्में हिट दी हैं। उनकी फिल्म मुगल-ए-आजम उस वक्त की सबसे ज्यादा कमाई करने वाली फिल्म बनी। अगस्त 1960 में रिलीज हुई यह फिल्म उस वक्त की सबसे महंगी लागत में बनने वाली फिल्म थी।
उपलब्धियाँ – दिलीप कुमार को आठ फिल्मफेयर अर्वाड मिल चुके हैं। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार सबसे ज्यादा अवॉर्ड जीतने के लिए दिलीप कुमार का नाम गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज है। दिलीप कुमार को साल 1991 में पद्म भूषण और 2015 में पद्म विभूषण से सम्मानित किया गया। 1994 तें दादा साहेब फाल्के अवॉर्ड से नवाजा गया। 2000 से 2006 तक वह राज्य सभा के सदस्य भी रहे। 1998 में वह पाकिस्तान के सर्वश्रेष्ठ नागरिक सम्मान निशान-ए-इम्तियाज से भी सम्मानित किए गए।