भाजपा के नये अध्यक्ष को लेकर नजरें दिल्ली पर टिकी, पहलगाम आतंकी हमले के बाद पार्टी की राजनीतिक गतिविधियों थमी
उत्तराखंड भाजपा का नया मुखिया कौन होगा, वर्तमान अध्यक्ष को ही पार्टी अवसर देगी अथवा नया चेहरा लाएगी, ऐसे प्रश्नों को लेकर सभी दिल्ली की ओर टकटकी लगाए हैं। नए अध्यक्ष को लेकर पार्टी को क्षेत्रीय और जातीय समीकरण भी साधने हैं।
माना जा रहा है कि इस माह के आखिर में केंद्रीय नेतृत्व प्रदेश अध्यक्ष के चुनाव की तिथि घोषित कर देगा। इसके बाद ही प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी किसे सौंपी जाएगी, इस संबंध में तस्वीर साफ हो सकेगी।
भाजपा के संविधान के अनुसार, 50 प्रतिशत से अधिक मंडल व जिला इकाइयों का गठन होने के बाद प्रदेश अध्यक्ष का चुनाव होता है। इस दृष्टि से देखें तो राज्य में भाजपा 50 प्रतिशत से ज्यादा मंडल इकाइयों का गठन कर चुकी है। 19 सांगठनिक जिला इकाइयों में से 18 में अध्यक्ष घोषित किए जा चुके हैं। ऐसे में अब प्रदेश अध्यक्ष के लिए सभी की उत्सकुता होना स्वाभाविक है।
जिन नामों की अध्यक्ष पद के लिए चर्चा है, उनमें वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट के अलावा विधायक विनोद चमोली, दायित्वधारी व वरिष्ठ नेता ज्योति प्रसाद गैरोला, प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी समेत कुछ अन्य नेताओं के नाम शामिल हैं।
हालांकि पहलगाम आतंकी हमले के बाद देश में गम और गुस्से का माहौल बना हुआ है। इससे भाजपा की अंदरूनी गतिविधियां भी कुछ समय के लिये थमती दिख रही हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि कुछ समय बाद आला कमान राज्यों के अध्यक्षों पर निर्णय ले सकता है।